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चंद आँसू, चंद अल्फ़ाज़ ( कविता संग्रह )
बुधवार, जुलाई 06, 2016
तेरी आँखें
बहुत शिकवे थे
तुझसे मिलने से पहले
तुझे करीब पाकर
कुछ याद नहीं रहा मुझे
इश्क़ है यह
या फिर
तेरी आँखों की जादूगरी
पागल कर गई है
जो मुझे
झील नहीं तेरी आँखें
मगर डूब गया हूँ मैं ।
दिलबागसिंह
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